तनुश्री के आरोप पर नाना ने कहा 'झूठ तो झूठ है'

मुंबई: अभिनेता नाना पाटेकर ने शनिवार को तनुश्री दत्ता के आरोपों से जुड़े सवालों पर कहा कि झूठ तो झूठ है। तनुश्री का आरोप है कि नाना ने एक दशक पहले एक फिल्म के सेट पर उनका यौन उत्पीड़न किया था। जोधपुर से यहां हवाईअड्डे पहुंचे नाना की कार को मीडिया ने चारों ओर से घेर लिया और उनसे तनुश्री के आरोपों और बयानों पर सवाल पूछे। तनुश्री का कहना है कि जब यह घटना हुई तो सत्ता में बैठे लोगों ने उनकी आवाज को दबा दिया था।

नाना ने अपनी कार में बैठने से पहले कहा, "10 साल पहले जवाब दे चुका हूं..जो झूठ है वो झूठ ही है।"

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देविका राजारमन ने गुरू को समर्पित भरतनाट्यम प्रस्तुति से जीता दिल

नई दिल्ली: नाट्य वृक्ष की संस्थापक-अध्यक्ष पद्मश्री गीता चंद्रन की शिष्या देविका राजारमन ने शनिवार को भरतनाट्यम पर अपनी प्रस्तुति से लोगों को मुग्ध कर दिया। चिन्मय मिशन ऑडिटोरियम में हुई इस प्रस्तुति के दौरान उपस्थित दर्शकों ने देविका की आत्मविश्वास से भरी प्रस्तुति की मुक्त कंठ से प्रशंसा की। गीता चंद्रन ने नट्टुवंगम, के. वेंकटेश्वरन ने वोकल, मनोहर बलातचंदीरेन ने मृदंग और जी. राघवेंद्र ने वायलिन वादक के रूप में सहयोगी कलाकारों की भूमिका निभाते हुए प्रस्तुति को मनमोहक बनाया।

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अभिनय व मॉडलिंग, दोनों हैं पसंद : मुग्धा गोडसे

मॉडलिंग से अभिनय की दुनिया में आईं मुग्धा गोडसे ने बॉलीवुड में कोई गॉडफादर न होने के बावजूद अपने दम पर पहचान हासिल की है। वह इन दिनों फिल्मों में ज्यादा सक्रिय नहीं हैं, फिर भी दर्शक उन्हें भूले नहीं हैं। मॉडलिंग और अभिनय के साथ ही मुग्धा फिल्म निर्माण में भी कदम रख चुकी हैं। 

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सबरीमाला मंदिर में महिलाओं के प्रवेश पर छूट दी सुप्रीम कोर्ट ने, पुजारी नाखुश

तिरुवनंतपुरम: सर्वोच्च न्यायालय ने शुक्रवार को अपने ऐतिहासिक फैसले में केरल के सबरीमाला मंदिर में 10 से 50 साल आयुवर्ग की सभी महिलाओं को प्रवेश की मंजूरी दे दी, लेकिन मंदिर के पुजारियों और इस परंपरा से जुड़े लोग फैसले से नाखुश हैं। उन्होंने कहा है कि वे 12 साल के कानूनी लड़ाई के बाद आए फैसले के खिलाफ एक याचिका दायर करने की योजना बना रहे हैं। 

इस फैसले पर निराशा जताते हुए मंदिर के मुख्य पुजारी, के. राजीवारू ने कहा, "मैं अदालत के फैसले का सम्मान करूंगा, लेकिन मैं चाहता हूं कि परंपरा और संस्कृति को जारी रखने की अनुमति दी जाए।" 

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'फेमिनिज्म' को लेकर लोगों में समझ कम : राधिका आप्टे

नई दिल्ली: दमदार अभिनय के साथ अपनी बेबाकी के लिए भी पसंद की जाने वाली अभिनेत्री राधिका आप्टे का कहना है कि नारीवाद (फेमिनिज्म) को लेकर लोगों में भ्रम की स्थिति है और यही वजह है कि आजकल इसके मायने बदल गए हैं। यह समझना बहुत जरूरी है कि अगर कोई महिला खुद को फेमिनिस्ट कहती है कि तो इसका मतलब है कि वह पुरुषों के समान अधिकार की हिमायती है, न कि पुरुषों को दबाने की। 

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ऑस्‍कर्स में जाएगी असमिया फिल्‍म 'विलेज रॉकस्‍टार्स'

मुंबई: रीमा दास निर्देशित असमिया फिल्म 'विलेज रॉकस्टार्स' ऑस्कर-2019 में भारत की आधिकारिक प्रविष्टि होगी। इस आशय का ऐलान शनिवार को किया गया। फिल्म को 91वें अकादमी पुरस्कार में भारत के प्रतिनिधित्व के लिए चुने जाने के बाद फिल्म फेडरेशन ऑफ इंडिया (एफएफआई) के सदस्यों ने भारतीय फिल्म उद्योग और सरकार से ऑस्कर अवार्ड के फाइनल राउंड में असमिया फिल्म को प्रमोट करने का आग्रह किया है।

समिति के अध्यक्ष व दिग्गज फिल्म निर्माता एस.वी.राजेंद्र सिंह बाबू ने यह घोषणा की।

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'मंटो' को पाकिस्तान में रिलीज कराने की कोशिश है : नंदिता दास

मुंबई: अभिनेत्री-फिल्मकार नंदिता दास का कहना है कि वह फिल्म 'मंटो' को पाकिस्तान में जल्द रिलीज कराने की दिशा में काम कर रही हैं। नंदिता ने रविवार को 'मंटो' की कवरेज को साझा किया और ट्वीट किया, "सीमा पार 'मंटो' की कवरेज, हम जल्द पाकिस्तान में इसे रिलीज कराने की दिशा में काम कर रहे हैं।"

एचपी स्टूडियोज, फिल्मस्टॉक और वायकॉम 18 मोशन पिक्चर्स द्वारा सह-निर्मित यह फिल्म लेखक सआदत हसन मंटो के जीवन पर आधारित है।

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शादीशुदा युगल की निश्छल प्रेम कहानी है 'तमन्ना'

नई दिल्ली: दिल्ली में रह रहे दो परिवारों की कहानी 'तमन्ना' यूं तो एक प्रेम कहानी जैसी लगती है, लेकिन वास्तव में यह मेट्रो शहरों की भागमभाग वाली जिंदगी में प्यार, सहारा और खुशी की तमन्ना लिए हर उम्र के शख्स की भावना को शब्दों में गूंथती है। 

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'Love Sonia', hate Sonia's journey

Film: "Love Sonia"; Starring: Mrunal Thakur, Riya Sisodiya, Richa Chadha, Freida Pinto, Anupam Kher, Manoj Bajpai, Rajkummar Rao; Director: Tabrez Noorani; Rating:** (2 stars). This well-intended melodrama about human trafficking and child prostitution has its heart in the right place. Sadly, the social perversity that ought to have galvanised the director into action, seem to finally drag the film down to the very level where the sub-human culture of the flesh trade exists.

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सौरभ शुक्ला की 'जब खुली किताब' से थियेटर में वापसी

मुंबई: अभिनेता सौरभ शुक्ला नाटक 'जब खुली किताब' से थियेटर में वापसी कर रहे हैं। 

सुभाष कपूर की 'जॉली एलएलबी', राजकुमार गुप्ता की 'रेड' और अनुराग बसु की 'बर्फी' जैसी फिल्मों में उनका अभिनय परिवारों को एक जगह बैठे रहने को मजबूर कर देता है।

उन्होंने कहा, "मैं टेलीविजन, रंगमंच और सिनेमा में 40 साल से अभिनय कर रहा हूं। आपने जिन भूमिकाओं का जिक्र किया, उनसे मुझे व्यापक तौर पर पहचान मिली, यह केवल आकस्मिक है। सुभाष, अनुराग और राज कुमार गुप्ता वे निर्देशक हैं जो मुझे स्वतंत्रता देते हैं। उन्हें मेरी क्षमताओं पर विश्वास है। यह हमेशा मदद करता है।" 

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